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महिला यौन कर्मियों की ढलती आयु और नागरिक जीवन की चुनौतियांः कबाड़ी बाजार मेरठ का एक अध्ययन

Author : Manoj Kumar

Abstract :

भारत देश में अनेकानेक कानून जिनके उद्देश्य हर भारतीय नागरिक को गरिमा के साथ मानवाधिकार, सम्मान दिलाना है, पर इनको क्रियाशील रखने वाली व्यवस्था का लाचार प्रयास महिलाओं, कमजोर वर्गों और आदिवासी समूहों के कल्याण परक कार्यक्रम लागू करने में विफल रहे हैं। रोटी, कपड़ा, मकान, शिक्षा, स्वास्थ्य औंर खुशियों के दरवाजे अभी तक उनके लिए नहीं खुल पाए हैं। महिलाओं के लिए शिक्षा, स्वास्थ्य और रोजगार के अवसर आज भी अत्यधिक कम हैं। राज्यों के आंकङे बताते हैं, कि साक्षरता और मजदूरी के मामले में महिलाएँ लगातार पीछे चल रही हैं।  समाज की सभी महिलाओं में से खासकर सवसे प्रभावित और खतरे के दायरे में महिला यौन कार्य की महिलाएँ आती हैं, कम उम्र के दौरान यौन कार्य में घसीटी गई लड़कियां यौन रोग और यौन हिंसा का अधिक शिकार बन जाती है, इनकी आमदनी तो दलालों, मालिकों, सगे सम्बन्धियों, आदियों द्वारा लुट ही ली जाती हैं। जिसके साथ ही उनका जीवन भी तवाह हो जाता है। भारत देश में 15 प्रतिशत यौन सेविकाएं 15 वर्ष से कम आयु वर्ग की हैं, और करीब 25 प्रतिशत महिलाएं 18 वर्ष से कम आयु की हैं। यौन कार्य को करने वाली प्रत्येक महिला तीन से पांच ग्राहकों को संतुष्ट करती है, कभी इनकी संख्या पांच ग्राहकों से अधिक भी हो सकती है।
प्रस्तुत नृवंशवैज्ञानिक अध्ययन मेरठ शहर में महिला यौन कर्मियों पर किया गया है, तथ्यों अनुसार यौन श्रम एक ऐसा कार्य है जिसमें से एक निश्चित (35 वर्ष से 40 वर्ष तक) आयु के बाद अधिकांश महिला यौन कर्मी सेवानिवृत्त हो जाती हैं, और उनको यौन श्रम से खारिज होना पड़ता है, यौन कार्य से सेवानिवृत्त होने की निश्चित आयु एवंम अन्य तथ्य कौन कौन से होते हैं जिस वजह से उनको एक निश्चित आयु के बाद इस कार्य से खारिज होना पड़ता है, इसी के साथ यह भी समझने का प्रयास किया है कि यह यौन कर्मी जो कि वेश्यालय की सेवा से खारिज हो जाती हैं वह कहाँ जाती हैं, और सेवानिवृत्त के बाद उनके रहने के कौन से स्थान होते हैं। यौन कार्य से सेवानिवृत्त के बाद वह अपना जीवन यापन करने हेतु किस तरह के कार्य करती हैं, और इन कार्यों करने के लिए उनके पास कौन से साधन उपलब्ध होते हैं। वेश्यालय आधारित यौन कार्य से सेवानिवृत्ति के बाद उनका और उनके बच्चों का सामाजिक जीवन किस तरह का होता और वह किन हालातों में अपना जीवन बिताती हैं।
 

Keywords :

महिला यौन कर्मी, यौन श्रम, देहव्यापार, दलाल, ग्राहक आदि